खरीफ फसलों के बीमा कराने की अंतिम तिथि 31 जुलाई से बढ़ाकर आगामी 16 अगस्त तक
खरीफ फसलों के बीमा कराने की अंतिम तिथि 31 जुलाई से बढ़ाकर आगामी 16 अगस्त तक
कवर्धा, 31 जुलाई 2023। कृषकों के फसल को प्रतिकूल मौसम, सूखा, बाढ़, जलप्लावन, कीटव्याधि, ओलावृष्टि आदि प्राकृतिक आपदाओं से कृषकों होने वाले नुकसान से राहत दिलाने के लिए छत्तीसगढ़ शासन द्वारा प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की अधिसूचना जारी कर दी गई है। जिले के किसान मुख्य फसल-धान सिंचित, धान असिंचित एवं अन्य फसल-मक्का, सोयाबीन, अरहर, मूंग, कोदो, कुटकी, रागी एवं उड़द का बीमा करा सकते है। कृषि विभाग के उप संचालक श्री राकेश शर्मा ने जिले के किसानों से अपील करते हुए कहा कि निर्धारित अंतिम तिथि 16 अगस्त 2023 तक अपने फसलों का बीमा अवश्य कराएं। इसके लिए अपने समिति, संबंधित बैंक, बीमा प्रदायक कंपनी, लोक सेवा केन्द्र सें अपने फसलों का बीमा करा सकते है।
बीमा में शामिल किए जाने वाले कृषक
श्री शर्मा ने बताया कि योजनांतर्गत सभी ऋणी एवं अऋणी कृषक जो भू-धारक व बटाईदार हो सम्मिलित हो सकते है, जो किसान अधिसूचित ग्राम में अधिसूचित फसल हेतु वित्तीय संस्थानों से मौसमी कृषि ऋण स्वीकृत, नवीनीकृत की गई हो, अनिवार्य रूप से सम्मिलित होंगे। इनके अलावा ऐच्छिक आधार पर अधिसूचित फसल उगाने वाले सभी गैर ऋणी कृषक जो योजना में सम्मिलित होने के इच्छुक हो वे आधार कार्ड, बैंक पासबुक, बी-1, खसरा एवं स्व-प्रमाणित फसल बोआई प्रमाण-पत्र दस्तावेज प्रस्तुत कर योजना में सम्मिलित हो सकते है। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजनांतर्गत मौसम खरीफ वर्ष 2023-2025 तक जिले के लिए इंश्योरेंस कंपनी लिमि. को निविदा के आधार पर चयनित हुआ है।
बीमा जोखिम
प्रधानमंत्री फसल बीमा योजनांतर्गत निम्नानुसार जोखिमों में बीमा आवरण उपलब्ध होगा। बाधित बुआई, रोपण जोखिम-बीमित क्षेत्र में कम वर्षा, प्रतिकूल मौसमी दशाओं के कारण बुआई, रोपण क्रिया न होने वाली हानि से सुरक्षा प्रदान करेगा। फसल कटाई के उपरांत होने वाले नुकसान-अधिसूचित फसलों के कटाई उपरांत सूखने लिए खेत में छोड़ी गई फसल को चक्रवात, चक्रवातीय वर्षा एवं बेमौसमी वर्षा से होने वाले नुकसान के लिये कटाई उपरांत अधिकतम दो सप्ताह अर्थात् 14 दिनों के लिए बीमा का प्रावधान होगा।
स्थानीयकृत आपदाएं
अधिसूचित क्षेत्र में फसलों को प्रभावित करने वाली ओला वृष्टि एवं जल भराव के अभिचिंहित स्थानीयकृत जोखिमों से होने वाले क्षति से सुरक्षा प्रदान करेगा। कृषकों द्वारा प्रदाय किए जाने वाली प्रीमियम दर-खरीफ वर्ष 2023 में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजनांतर्गत कुल बीमित राशि का 2 प्रतिशत किसानों द्वारा प्रीमियम राशि देय है। प्रीमियम राशि देय के रूप में प्रति हेक्टेयर धान सिंचित फसल के लिए 1160 रूपए, धान असिंचित के लिए 880 रूपए, सोयाबीन के लिए 960 रूपए, मक्का के लिए 800 रूपए, कुटकी के लिए 320 रूपए, कोदो के लिए 300 रूपए, मूंगफली के लिए 800 रूपए, मूंग एवं उड़द के लिए 420 रूपए, तुअर (अरहर) 700 रूपए एवं रागी फसल 1 प्रतिशत की दर से 110 रूपए प्रति हेक्टेयर बीमा प्रीमियम दर देय होगा।
कृषक के लिए महत्वपूर्ण बिंदु
एक की अधिसूचित क्षेत्र एवं अधिसूचित फसल के लिये अलग-अलग वित्तीय संस्थाओं से कृषि ऋण स्वीकृत होने की स्थिति में कृषक को एक ही स्थान से बीमा कराया जाना है। इसकी सूचना कृषक को संबंधित बैंक को देनी होगी। ऋणी एवं अऋणी कृषकों के द्वारा समान रकबा, खसरा का दोहरा बीमा कराने की स्थिति में कृषक के समस्त दस्तावेज को निरस्त करने का अधिकार बीमा कंपनी के पास होगा।