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बरखा रानी आ गई

. बरखा रानी आ गई
बरखा के बौछार ने; लाया शुभ सौगात।
आई है कादंबिनी; करने को बरसात।।1।।
गाँव-गाँव के खेत में; भरा हुआ है नीर।
लेकर आई साथ में; तूफानों की पीर।।2।।
बरखा रानी आ गई; लेकर के खुशहाल।
गर्मी से राहत मिले; मानव हुए निहाल।।3।।
मेघ राग की रागिनी; खुशियों में संसार।
निस दिन वर्षा हो रही; बहता जल की धार।।4।।
रिमझिम सी बरसात से; बहे नदी में नीर।
राह हुए जलमग्न है; मानव रखना धीर।।5।।
परमानंद निषाद’प्रिय’
ग्राम – निठोरा,पोस्ट – थरगाॅंव,
तह.-सोनाखान,जिला-बलौदा बाजार(छ.ग.)